Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Jun 2021 · 1 min read

***Be lucent,for his own labours***

Don’t blame destiny,
You should blame circumstances,
You have created,
By your unstrategic work,
The circumstances,
Have prevailed surrounding you,
Which can never be changed by you,
Have made by nature,
You can’t face them, sure,ok,
Let search,
The opportunities,
To befit them in your way,
Don’t worry,
If,you can’t obtain,
Perhaps God add other beautiful and great things,
In your trove,
So,you live a spectacular life with strategic wisdom,
Be lucent,to make light for his own labours,
Then, Real you appear.

© Abhishek Parashar💐💐💐💐💐

Language: English
Tag: Poem
1 Like · 1 Comment · 334 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
#लघुकथा
#लघुकथा
*Author प्रणय प्रभात*
जागी जवानी
जागी जवानी
Pt. Brajesh Kumar Nayak
जुदाई का एहसास
जुदाई का एहसास
प्रदीप कुमार गुप्ता
❤️एक अबोध बालक ❤️
❤️एक अबोध बालक ❤️
DR ARUN KUMAR SHASTRI
ख़यालों में रहते हैं जो साथ मेरे - संदीप ठाकुर
ख़यालों में रहते हैं जो साथ मेरे - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
राशिफल
राशिफल
Dr. Pradeep Kumar Sharma
💐प्रेम कौतुक-491💐
💐प्रेम कौतुक-491💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
मैं नही चाहती किसी के जैसे बनना
मैं नही चाहती किसी के जैसे बनना
ruby kumari
जिस्म का खून करे जो उस को तो क़ातिल कहते है
जिस्म का खून करे जो उस को तो क़ातिल कहते है
shabina. Naaz
इस छोर से.....
इस छोर से.....
Shiva Awasthi
दौर कागजी था पर देर तक खतों में जज्बात महफूज रहते थे, आज उम्
दौर कागजी था पर देर तक खतों में जज्बात महफूज रहते थे, आज उम्
Radhakishan R. Mundhra
जिस तरह मनुष्य केवल आम के फल से संतुष्ट नहीं होता, टहनियां भ
जिस तरह मनुष्य केवल आम के फल से संतुष्ट नहीं होता, टहनियां भ
Sanjay ' शून्य'
नया साल लेके आए
नया साल लेके आए
Dr fauzia Naseem shad
*****सबके मन मे राम *****
*****सबके मन मे राम *****
Kavita Chouhan
दोस्ती का तराना
दोस्ती का तराना
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
ମଣିଷ ଠାରୁ ଅଧିକ
ମଣିଷ ଠାରୁ ଅଧିକ
Otteri Selvakumar
तेरा मेरा रिस्ता बस इतना है की तुम l
तेरा मेरा रिस्ता बस इतना है की तुम l
Ranjeet kumar patre
क्यों नहीं देती हो तुम, साफ जवाब मुझको
क्यों नहीं देती हो तुम, साफ जवाब मुझको
gurudeenverma198
जीवित रहने से भी बड़ा कार्य है मरने के बाद भी अपने कर्मो से
जीवित रहने से भी बड़ा कार्य है मरने के बाद भी अपने कर्मो से
Rj Anand Prajapati
प्यारी तितली
प्यारी तितली
Dr Archana Gupta
कितना भी  कर लो जतन
कितना भी कर लो जतन
Paras Nath Jha
'मन चंगा तो कठौती में गंगा' कहावत के बर्थ–रूट की एक पड़ताल / DR MUSAFIR BAITHA
'मन चंगा तो कठौती में गंगा' कहावत के बर्थ–रूट की एक पड़ताल / DR MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
दोहा
दोहा
दुष्यन्त 'बाबा'
*दादा जी (बाल कविता)*
*दादा जी (बाल कविता)*
Ravi Prakash
हर सुबह उठकर अपने सपनों का पीछा करना ही हमारा वास्तविक प्रेम
हर सुबह उठकर अपने सपनों का पीछा करना ही हमारा वास्तविक प्रेम
Shubham Pandey (S P)
When conversations occur through quiet eyes,
When conversations occur through quiet eyes,
पूर्वार्थ
फरियादी
फरियादी
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
यह गोकुल की गलियां,
यह गोकुल की गलियां,
कार्तिक नितिन शर्मा
बो रही हूं खाब
बो रही हूं खाब
Surinder blackpen
साजन तुम आ जाना...
साजन तुम आ जाना...
डॉ.सीमा अग्रवाल
Loading...